मंगलवार, 27 फ़रवरी 2018

रंग के बारे में...




होली व नये संवत की शुभकामनाओं के साथ बचपना में इस बार प्रस्तुत कर रहा अपनी यह कविता रंग के बारे में धूल सने एक बच्चे के विचार...

  
                    ~ प्रेम रंजन अनिमेष

रंग के बारे में धूल सने एक बच्चे के विचार


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न मैं ऐसा
जो सोख ले सब रंग
न वो
जो लौटा दे सारे


न कोरा उजला
न ही पूरा काला


सतरंग के बीच का
कोई रंग मैं


आत्मसमर्पण संकेत सा
निष्प्रभ श्वेत नहीं


शांति प्रतीक कबूतर के पंख सा
मटमैला आसमानी